उसकी यादों के तिनके से दरिया पार हो जाऊं , वो मंद मंद मुस्काये जब मैं कश्ती संग बह जाऊ उसकी यादों के तिनके से दरिया पार हो जाऊं , वो मंद मंद मुस्काये जब मैं कश्ती स...
यह दुरूह कार्य कर, कैसे मुस्करायी होगी तुम। यह दुरूह कार्य कर, कैसे मुस्करायी होगी तुम।
सोचता हूं मैं खुद अपनी खुशियों का कातिल तो नहीं सोचता हूं मैं खुद अपनी खुशियों का कातिल तो नहीं
फ़ाज़िल मुंसिफ तो सिर्फ क़ानून जानता है क़ातिल को मक़तूल का खून पहचानता है जिंदा लाशें ज फ़ाज़िल मुंसिफ तो सिर्फ क़ानून जानता है क़ातिल को मक़तूल का खून पहचानता है ...
आज जिंदगी कुछ वीरान सी लगती है चाँदनी रात भी काली स्याह सी दिखती है। हर पल तेरी है आज जिंदगी कुछ वीरान सी लगती है चाँदनी रात भी काली स्याह सी दिखती है। ह...
कवियत्री को न पसंद आने वाले जज़्बातों की एक अनोखी तालिका कवियत्री को न पसंद आने वाले जज़्बातों की एक अनोखी तालिका